देवी माहात्म्यं चामुंडेश्वरी मंगलम्
देवी माहात्म्यं दुर्गा सप्तशति चतुर्थोऽध्यायः
न सूक्तं नापि ध्यानं च, न न्यासो न च वार्चनम्।।
श्री अन्नपूर्णा अष्टोत्तरशत नाम्स्तोत्रम्
देवी वैभवाश्चर्य अष्टोत्तर शत नामावलि
गोपनीयं प्रयत्नेन स्वयोनिरिव पार्वति ।
नवरात्रि के नौ दिनों तक इसका पालन करना होगा तभी ये पूर्ण फल प्रदान करेगा.
दकारादि श्री दुर्गा सहस्र नाम स्तोत्रम्
देवी माहात्म्यं दुर्गा सप्तशति पंचमोऽध्यायः
श्री प्रत्यंगिर अष्टोत्तर शत नामावलि
कुंजिकापाठमात्रेण दुर्गापाठफलं लभेत् ।
कभी उड़ान नहीं भर पाएगी जेट एयरवेज, सुप्रीम कोर्ट ने एयरलाइन के ऐसेट्स बेचने का दिया read more आदेश
देवी माहात्म्यं अपराध क्षमापणा स्तोत्रम्
ऐं ह्रीं क्लीं चामुण्डायै विच्चे ज्वल हं सं लं क्षं फट् स्वाहा।
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